इसकी शुरूआत एक सुबह से हुई, जब मैं एक 21 वर्ष का कॉलेज का विद्यार्थी था और अचानक एक लोकप्रिय बॉम्बे पत्रिका के पेज पर मेरी नजर पड़ी, जिसमें पूरे संसार के युवा लोगों पते को छापा गया था, जो कि भारत में पत्र मित्र की तलाश में थे। मैंने स्वयं अपने कक्षा के लड़के-लड़कियों को अनदेखे लोगों के मोटे-मोटे हवाई डाक के लिफाफे को प्राप्त करते हुए देखा था। यह उन दिनों का फैशन था।

मुझे भी प्रयास क्यों नहीं करना चाहिए? इसलिए मैंने लॉस एंजेल्स में किसी Alice H. के पते को चुना और एक महंगा-सा लाइटिंग पैड खरीदा। एक बार मेरे कक्षा की एक बालिका ने महिला के हृदय के बारे में एक Clue दिया कि वे गुलाबी शीट्स पर लिखे पत्रों को पढ़ना ज्यादा पसंद करती है। मैंने सोचा, "हां, मुझे भी Alice को गुलाबी शीट पर पत्र अवश्य लिखना चाहिए।"

मैंने लिखना शुरू किया, "प्रिय पत्र-मित्र," एक स्कूली बच्चे की तरह घबराया हुआ, जो कि अपनी पहली परीक्षा दे रहा होता है। मेरे पास कहने को ज्यादा कुछ नहीं था, फिर भी मैंने धीरे-2 पेन चलाते हुए पत्र को पूरा किया। Postbox में पत्र डालते समय मैंने महसूस किया, मानो मैं किसी शत्रु की गोली का सामना कर रहा था।

मेरी आशा की अपेक्षा, सुदूर कैलिफोर्निया से पत्र का उत्तर अधिक जल्दी आ गया। Alice ने लिखा, "मुझे आश्चर्य है कि कैसे मेरा पता आपके देश में पत्र मित्रों के सूची में शामिल हो गया, क्योंकि मैंने कभी भी एक मित्र के लिए नहीं कहा, लेकिन बगैर देखे हुए और बगैर सुने हुए किसी व्यक्ति से सुनना अच्छा होता है। फिर भी आप मुझे एक पत्र मित्र के रुप में चाहते हैं और मैं इसके लिए यहां तैयार हूं।

मैं नहीं जानता हूं कि मैंने उस छोटे से नोट को कितनी बार पढ़ा। इसमें जीवन का पूरा संगीत समाया हुआ था और मैं महसूस कर रहा था कि मैं सातवें आसमान में था।

मैं अपने पत्र व्यवहार में सतर्क रहता था और कुछ भी ऐसा नहीं लिखता था जो कि एक अनजान अमेरिकन लड़की को दु:खी करें। अंग्रेजी भाषा Alice को स्वाभाविक रूप से आती थी, वही मेरे लिए यह एक विदेशी भाषा थी जिसे मैंने अत्यधिक कष्ट से प्राप्त किया था। मैं अपने शब्दों तथा वाक्यांशों में बहुत भावुक और प्रायः शर्मिला था, लेकिन मेरे हृदय के कोने में कहीं पर प्रेम का भाव छिपा हुआ था, जिसे मैंने प्रकट करने का साहस नहीं किया। Alice सपने संतुलित हाथों से लंबे-लंबे पत्रों को लिखा करती थी, लेकिन फिर भी अपने आप के बारे में थोड़ा ही प्रकट करती थी।

किताबों, पत्रिकाओं साथ ही साथ छोटी-छोटी यादगार की चीजों को रखे हुए बड़े-बड़े लिफाफे हजारों मिल पार करके मेरे दरवाजे तक आते थे। इसमें मुझे कोई संदेह नहीं था कि Alice एक धनी अमेरिकन महिला थी और अपने सुंदर उपहारों की तरह सुंदर भी और कि हमारी दोस्ती सफल थी।

फिर भी, एक प्रश्न मेरे मस्तिष्क को परेशान कर रहा था। एक लड़की से उसकी उम्र पूछना असभ्य होगा, लेकिन यदि मैं उसकी फोटो के लिए पूछ लूं तो इसमें कहां हानि है। मैंने उस अनुरोध को लिखा और अंत में उत्तर आ गया। Alice ने कहा कि ठीक तब, उसके पास कोई तस्वीर नहीं थी लेकिन वह किसी दिन मेरे पास उसे भेज देगी। उसने यह भी जोड़ दिया कि औसतन एक अमेरिकन लड़की उससे कहीं अधिक आकर्षक थी।

क्या यह एक लुकाछिपी का खेल था? ओह यह स्त्री जाति की चालें।

वर्ष गुजरते गए, एलिस के साथ मेरा पत्र व्यवहार कम रुचिकर, अधिक अनियमित हो गया लेकिन विलुप्त नहीं हुआ अर्थात बंद नहीं हुआ। जब भी वह बीमार पड़ती, "ठीक हो जाओ" के संदेश भेजता रहता और इसके अलावा क्रिसमस कार्ड, उपहार इत्यादि। इसी बीच मैं दुनियादारी वाला एक व्यक्ति बन गया, आयु और बढ़ गई, एक नौकरी प्राप्त कर ली, पत्नी तथा बच्चों वाला हो गया। मैंने Alice के पत्रों को अपनी पत्नी को दिखाया। Alice से मिलने का विचार सदा ही मेरे लिए और मेरे परिवार के लिए था।

तब, एक दिन मैंने एक बड़े पैकेट को प्राप्त किया जो कि नया था, स्पष्ट रूप से स्त्री जाति की लिखावट थी। यह हवाई डाक के द्वारा अमेरिका से एलिस की घर के नगर से आया था। यह नया पत्र मित्र कौन था? मैंने आश्चर्य से पैकेज को खोलकर सोचा।

यह कुछ पत्रिकाओं तथा एक छोटे से नोट को रखे हुआ था। जैसा कि Alice H. के एक निकट मित्र के रुप में, जिसको कि आप बहुत अच्छी तरह जानते थे, मैं आपको सूचित करते हुए दुखी हूं कि एक कार दुर्घटना में पिछले रविवार को उसकी मृत्यु हो गई, जब वह चर्च से कुछ खरीददारी करके घर लौट रही थी। बहुत बूढ़ी होने के कारण - पिछले अप्रैल 78 वर्ष की थी - वह तेज गति वाली कार नहीं देख सकी। Alice अक्सर मुझे बताती थी कि वह आपकी बात सुनकर कितनी खुश है। एक अकेला पक्षी, दूसरों की मदद करना उसके लिए एक जुनून था, दूर और पास, देखा और अनदेखा दोनों।

लेखक ने इस अनुरोध के साथ निष्कर्ष निकाला कि मैं Alice की संलग्न तस्वीर को स्वीकार करता हूं, जो चाहती थी कि इसे उसकी मृत्यु के बाद ही मुझे भेजा जाए।

यह सुंदरता और करुणा का चेहरा है; यह एक ऐसा चेहरा है जिसे मैंने तब भी संजोया होगा जब मैं एक शर्मीला कॉलेज का लड़का था और वह पहले से ही बूढ़ी थी।